देहरादून: संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष के उपलक्ष्य में उत्तराखंडराज्य सहकारी संघ सभागार में आयोजित कार्यशाला कोऑपरेटिव बिल्ड ए बेटर वर्ल्ड थीम पर सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत, अपर सचिव/निबंधक सहकारिता सोनिका , नाबार्ड के जीएम सुमन कुमार, आईसीएम निर्देशक अनिल तिवारी द्वारा द्वीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया साथी वार्षिक कार्य योजना एवं गतिविधियों के कैलेंडर कार्यशाला का शुभारंभ किया गया।
अपने संबोधन में सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने कहा कि पूरा देश इस वर्ष अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष मना रहा है जिसको लेकर उत्तराखंड राज्य में वर्ष भर कार्यशाला और कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।
डॉ रावत बताया कि इस वर्ष मार्च महीने में वह इस विभाग के मंत्री के रूप में 8 साल पूरा कर लेंगे।
किसान कल्याण दीनदयाल ऋण योजना की सफलता पर उन्होंने बताया कि प्रदेश में अभी तक 10 लाख 22 हजार करोड़ ऋण वितरित किया जा चुका है। इसके साथ ही प्रदेश में 2 लाख और 5 लाख ऋण देकर 100000 महिलाओं को हमारी सरकार द्वारा लखपति दीदी बनाया गया है।
डॉ रावत ने बताया कि हमारे प्रदेश के लिए यह गर्व का विषय है कि समितियों के कंप्यूटरीकरण में जो मॉडल हमारे द्वारा अडॉप्ट किया गया था इस सॉफ्टवेयर से आज पूरे देश भर में समितियां को डिजिटाइजेशन किया जा रहा है।
मिलेट्स मिशन योजना की सफलता पर डॉ रावत ने बताया कि उनके द्वारा जब शुरुआत में मंडुवे और झंगोरा 18 रुपए की दर से खरीदा गया था आज प्रदेश में 42 रुपए की दर पर प्रति किलो इसकी खरीद की जा रही है जिसका प्रतिफल यह है कि आज प्रदेश में किसान मिलेट्स से अपनी आमदनी में इजाफा कर रहे हैं।
उत्तराखंड में सहकारिता के द्वारा किसानों को एक नई दिशा दी है सरकार द्वारा विकास कार्यों का प्रतिफल है कि उत्तराखंड में आज तक एक भी किसान आंदोलन नहीं हुए।
सहकारिता मंत्री ने निर्देश दिए की 30 मार्च तक प्रदेश में 400 बहुउद्देशीय समितियां का ग्राम सभा स्तर पर गठन करना है यदि किसी जनपद में नवनिर्मित बहुउद्देशीय समितियों के गठन को लेकर लापरवाही बरती जाएगी वह कार्यवाही के लिए भी तैयार रहें।वर्तमान में प्रदेश में 670 समितियां हैं
इन सभी समितियां में कार्यशालाएं और लाभार्थी कार्यक्रम ,जन जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे इन कार्यक्रमों के माध्यम से सीधा 10 लाख 50000 किसानों से जुड़ने की योजना है इस वर्ष चार सहकारिता मेले भी आयोजित किए जाएंगे वर्ष के अंत में पूरे वर्ष भर आयोजित कार्यक्रमों को लेकर मंथन और अगले वर्ष 2026 की कार्य योजना तैयार की जाएगी।
सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने बताया पहाड़ी जनपदों के 42 ब्लॉकों में शत प्रतिशत ऑर्गेनिक फार्मिंग का लक्ष्य है उत्तराखंड राज्य पूर्णतः जैविक खेती की दिशा में आगे बढ़े, समितियों के गठन को लेकर मंच से सहकारिता मंत्री द्वारा प्रत्येक जनपद के सहायक निबंधको से जनपदवार प्रगति रिपोर्ट भी जानी।
अपर सचिव एवं रजिस्ट्रार, सहकारी समितियां सोनिका ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष-2025 के उपलक्ष्य में वर्ष पर्यंत आयोजित होने वाले कार्यक्रमों के माध्यम से जनमानस में सहकारिता विभाग और सहकारी संस्थाओं की अच्छी छवि का निर्माण होना चाहिए। उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा की जा रही कवायद का लाभ किसानों, सहकारी संस्थाओं के सदस्यों और सहकारी संस्थाओं तक बेहतर रूप में पहुंचे, यह सुनिश्चित किया जाए।
अपर सचिव/निबंधक सोनिक ने कहा कि सभी पैक्स फंक्शनल हों, उनका सुचारू संचालन हो और उनकी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ हो, यह हमारी प्राथमिकता है। वर्तमान में सहकारिता के माध्यम से बिजनेस को बढ़ाने की आवश्यकता है जिससे हम खेती, पेट्रोल पंप, गैस एजेंसी, माल ,और फन पार्क के माध्यम से अपना बिजनेस बढ़ा सकते हैं अमूल इसका एक बेहतर उदाहरण है।
अपने संबोधन में निबंधक सहकारिता सोनिका द्वारा बहुउद्देशीय समितियों को वर्टिकल एक्सपेंशन और होरिजेंटल एक्सपेंशन का एक सफल उदाहरण दिया कैसे इस दिशा में कार्य कर सफल होना है, इसके साथ ही हमें स्वामित्व और जिम्मेदारी का भी विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता है।
नाबार्ड के महाप्रबंधक सुमन कुमार ने अपने संबोधन में सामाजिक समावेशन आर्थिक सशक्तिकरण और सतत विकास को बढ़ावा देने में सहकारी समितियां की भूमिका पर प्रकाश डाला और वर्तमान में उत्तराखंड में सहकारिता के क्षेत्र में कारों की प्रशंसा की
कार्यक्रम में उत्तराखंड राज्य सहकारी बैक की पत्रिका का मा सहकारिता मंत्री , निबंधक सहकारिता एवं उपस्थित समस्त महानुभावों द्वारा विमोचन किया गया।
कार्यक्रम का सफल संचालन संयुक्त निबंधक मंगला त्रिपाठी द्वारा किया गया इस अवसर पर उनके द्वारा सहकारिता के क्षेत्र में 54 विशेष बिंदुओं पर प्रस्तुतीकरण किया गया कार्यक्रम के अंत में अपर निबंधन आनंद शुक्ल द्वारा धन्यवाद ज्ञापित किया गया।
आयोजित कार्यशाला में अपर निबंधक श्रीमती ईरा उप्रेती आनंद शुक्ल, संयुक्त निबंधक नीरज बेलवाल, मंगला त्रिपाठी, प्रबंध निदेशक उत्तराखंड राज्य सहकारी संघ रमिंद्री मंद्रवाल,समस्त जनपदों से सहायक निबंधक सहकारी बैंकों से शाखा प्रबंधक और सहकारिता से जुड़े अधिकारी कर्मचारी उपस्थित रहे।