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Uttarakhand: मकान मालिक ध्यान दें, उत्तराखंड में दूसरे प्रदेश से आकर ​रहने वाले किरायेदारों को पहले अब करना होगा ये काम

किरायेदार वेरिफिकेशन के बाद भी 10 हजार का चालान, जानिए क्या कहता है नया नियम

देहरादून: अगर आपके घर में किरायेदार है और उन्होंने ऑनलाइन सत्यापन किया है तो वह मान्य नहीं होगा ऐसा सिर्फ तब होगा जब किरायेदार किसी बाहरी राज्य का हो।

देवभूमि मोबाइल ऐप या उत्तराखंड पुलिस की वेबसाइट से किरायेदार का ऑनलाइन सत्यापन किया जाता है। इसमें किरायेदार की जानकारी अपलोड करके सत्यापन का प्रमाण पत्र डाउनलोड करने की सुविधा है। हालांकि कई मामलों में पुलिस चालान कर रही है, खासकर जब किरायेदार उत्तराखंड के बाहर से होता है। इस स्थिति में पुलिस ऑनलाइन सत्यापन को मान्य नहीं मान रही है और इस बारे में सार्वजनिक रूप से कोई जानकारी नहीं दी गई है। जब पुलिस सत्यापन के समय दस हजार का चालान जारी करती है, तब मकान मालिक को इस बात का पता चलता है। पुलिस का कहना है कि ऑनलाइन सत्यापन केवल उन्हीं मामलों में मान्य होंगे, जहां किरायेदार उत्तराखंड के निवासी हैं।

बाहरी राज्य के किरायेदारों को थाने में जाकर करना होगा सत्यापन

यदि आप उत्तराखंड के बाहर के किसी राज्य से किरायेदार रखते हैं तो आपको उसका सत्यापन संबंधित थाने से कराना होगा और फिर मकान मालिक को इसे अपने नजदीकी थाने में जमा करना होगा। इसके बाद ही बाहरी राज्य के किरायेदार का सत्यापन सही माना जाएगा। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि बाहरी किरायेदारों के ऑनलाइन आवेदन पर थानों को रिपोर्ट भेजी जाती है लेकिन वहां से जवाब नहीं आता। इसी कारण बाहरी राज्यों के किरायेदारों के ऑनलाइन सत्यापन की मान्यता समाप्त कर दी गई है।

 

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